गुरुवार, 3 दिसंबर 2009

विश्वशांति का मार्ग

जागो अभी समय है शान्ति का मार्ग स्वीकारो

प्रस्तुत है

विश्वशांति का मार्ग

कभी हल्ला मचा मस्जिद है मन्दिर क्यों नही - विवाद

मस्जिद तोड़ी गई मन्दिर क्यों नही बना, हल्ला मचता रहा, मच रहा है

हमारा धर्म सत्य है, तुम्हारा धर्म असत्य है इस सत्य असत्य के चक्कर में विश्व में विवाद बना हुआ है , तुम्हारे असत्य रुपी धर्म को नष्ट करने के लिए घातक आतंकवाद का विस्तार किया गया।

इन सारे विवादों में हत्या उन निर्दोष व्यक्तियों की हो रही है जो वास्तविक धर्म के अर्थ को स्वीकार ही नही पालन भी करता है वह है विश्व का आम आदमी। आज मारा वही जा रहा है।

आज बड़े दुर्भाग्य की बात है कि इस खेल को समाज का विद्वान् व्यक्ति खेल रहा है अपने निज स्वार्थ के लिए।

दिनांक २३ नवम्बर को मालूम हुआ कि लिब्राहन रिपोर्ट लीक कर दी गई किसी अंग्रेजी समाचार पत्र में प्रकाशित कर दी गई। दिनांक २४ को पूरी रिपोर्ट संसद में प्रस्तुत कर दी गई।

लात जूता शुरू हो गया, नेताओं को, टीवी को, समाचार पत्रों को एक काम मिल गया। इस रिपोर्ट में

करोड़ों रुपए बरबाद भी कर दिए गए।

इन सारे घटनाक्रम में ये सभी उद्भट विद्वान व्यक्ति शामिल है,

शर्म आती है तुम्हे विद्वान् कहने में। आज देश का दुर्भाग्य है की १७ साल पहले हम जहाँ से चले थे आज १७ साल बाद आज फिर हम अपने अतीत में पहुच गए, मगर इन १७ साल में यदि हम चिंतन करते की जिस परमात्मा को बहुरूपों में हम देख रहे है वह क्या एक नही है। उस एक को बहुरूपों में कैसे जाने । समाज के बहु विचारो में एकता कैसे लायी जाय यदि विचार इस पर आधारित होता यदि रोर्ट इस पर आधारित होती तो आज जो संसद में हुआ वह न होता।


अयोध्या झगडे का कारण नही , अयोध्या प्रेम का द्वेतक है ।


झगड़ा इज गाड, गाड इस झगड़ा , नही लव इज गाड , गाड इज लव की आवश्यकता है , बंद करो ये विवाद ।


नई पहल इन चित्रों में आधारित है यही है निदान --






यदि इस समस्या में वृहद् विचार जानने है तो चिठ्ठे की अन्य पोस्ट को पढ़े हर स्तर से बात समझ में आ जाएगी।


केशव कुमार त्रिवेदी


तबला वादक


कानपुर


9307373276

सोमवार, 2 नवंबर 2009




































शुक्रवार, 2 अक्तूबर 2009

राम जन्मभूमि बाबरी मस्जिद विवाद एवं समाधान

बुधवार, 23 सितंबर 2009